
शब्द नहीं गिरते : अशोक वाजपेयी
शब्द नहीं गिरते शब्द नहीं गिरते समय पर वे गिरते हैं धरती पर— जिस पर गिरती है धूप, वर्षा, ऋतुएँ। … Continue reading शब्द नहीं गिरते : अशोक वाजपेयी
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આવીશ? સવારનો સમય છે: બફારો છે અને તડકામાં એક પ્રતીતિકર ચમક પણ. વનસ્પતિનો હરિયાળો રંગ પણ ઠંડક વિનાનો લાગે છે. … Continue reading આવીશ?